नेपाल सरकार बनाने में फिर नाकाम

काठमांडो: नेपाल शायद दुनिया का पहला ऐसा देश है जहां हर कुछ दिनों पर सरकार बदलती रहती है और प्रधानमंत्री बनने की चाहत में घमासान मचा रहता है। नेपाल की इस मामले में भी काफी सुस्ती दिख रही है कि पिछले आठ-नौ सालों में यहां के राजनीतिक दल अपना नया संविधान तक नहीं तैयार कर सकी है।

खबर है कि नेपाल में एक बार फिर राजनीतिक दलों को राष्ट्रीय एकता सरकार बनाने में नाकाम रहने के बीच राष्ट्रपति ने उन्हें चेतावनी देते हुए कहा कि इसके लिए समय तेजी से समाप्त हो रहा है, हालांकि उन्होंने इसके लिए और पांच दिनों का समय दिया।

राष्ट्रपति राम बरन यादव ने राष्ट्रीय सहमति की सरकार बनाने के लिए समयसीमा चार जनवरी तक बढ़ा दी। राष्ट्रीय सरकार बनाने के लिए मूल समयसीमा 29 नवंबर तक थी। यह सातवां मौका है जब राष्ट्रपति ने समयसीमा बढ़ायी है।

राष्ट्रपति ने तीन प्रमुख राजनीतिक दलों और ज्वाइंट डेमोके्रेटिक मधेशी फ्रंट के शीर्ष नेताओं के साथ आज बैठक कर सरकार बनाने के संबंध में उनके प्रयासों के बारे में पूछताछ की।

बैठक में मौजूद नेपाली कांग्रेस के महासचिव प्रकाश मान सिंह ने कहा कि राष्ट्रपति ने राजनीतिक दलों के नेताओं से जल्दी से जल्दी किसी सहमति पर पहुंचने को कहा। राष्ट्रपति ने नेताओं से आम चुनावों के लिए जरूरी तैयारियों की दिशा में काम करने को भी कहा। सिंह ने कहा कि राष्ट्रपति ने नेताओं से आम सहमति की दिशा में आगे बढऩे को कहा ताकि चुनाव अप्रैल मई तक कराए जा सकें।

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